0x1c8c5b6a
0x1c8c5b6a
0x1c8c5b6a
उसके मिलने की उम्मीद से,बढ़ती धड़कने भी काबू हो जायेंगी।ख्वाबों में मुस्कुराना और नींद भी आएगी,इस उम्र में भी यादें बहकती है तो,ऐ नफ़ीस, कोटा चला जा,दड़िया या के इलाज से ज़िन्दगीवापस पटरी और आ जाएगी। -डॉ महेंद्र सिंह मीणा
इंतज़ारउसके मिलने की उम्मीद से,अब भी धड़कन बढ़ जाती है।कई बार खुल जाती है नींद मेरी,जब वो ख्वाबो में मुस्कुराती है।इतना मशरूफ ही जिंदगी में,फिर भी कभी कभी सताती है।कितना भी मैं काबू करूँ,पर याद उसकी बहकाती है।उसके दीदार के तवस्वुर में,ए नफीस जिंदगी गुज़र जाती है। –डॉ नफीस अहमद